Monday, April 2, 2012

शुरुवात

आज ,
आज का दिन बहुत खास है ,
तो क्यों न ,
एक शुरुवात करो ,
नए आयाम नए लक्ष्य बनाकर ,
ठान लो आज अपने मन में ,
बदलाव की आंधी उठाने की  ,
कुछ पाने की कुछ कर दिखने की ,
एक नया संसार बनाने की ,

ये वक्त ,
ये वक्त ठहरने का नहीं है ,
ये वक्त है आगे बढ़ने का ,
तो आज , 
आज शुरुवात करो ,
तारों सा जगमगाने की ,
हवाओ सा गुनगुनाने की ,
चिड़ियों सा चहचहाने की ,

आज ,
आज शुरुवात करो ,
बादलों सा गरजने की ,
चट्टानों सा अकड़ने की ,
तुफ़ा सा मचलने की ,

आज ,
आज शुरुवात करो ,
जिंदगी को जीने की ,
अपनी खुशियाँ सजोने की ,
अपनी कमियों को खोने की ,
एक नए रूप में पहचान की ,
आज तुम शुरुवात करो .

आज की ये शुरुवात ही  ,
आपके काम आएगी ,
 आप की ये जिंदगी और भी ज्यादा संवर जायेगी .... 

5 comments:

  1. very inspiring,,,,,,,,,,,,,,,,,,,lvly poetry,,,,

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  2. आज ,
    आज शुरुवात करो ,
    जिंदगी को जीने की ,
    सुविचार युक्त सुन्दर रचना ...
    'आगाज़' है तो 'अंजाम' भी होगा.

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  3. बिलकुल सही लिखा आपने सुशांत भाई... बहुत बढ़िया!!!

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  4. मैंने कमेन्ट किया था कहाँ चला गया

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